विरूपा का परिचय(Virupa ka parichay) 🌺 विरूपा का परिचय 🌺 * विरूपा का समय-: संवत् 900 के लगभग( आचार्य रामचंद्र शुक्ल के अनुसार ) * विरूपा के तीन नाम -: विरूपा,काल विरूपा और धर्मपाल भी थे और ये नालंदा ओडियान तथा चीन में भी प्रकट हुए थे ।(तारानाथ के अनुसार) * तंजूर में विरूपा के 13 ग्रंथ मिलते हैं जिनमें 8 अपभ्रंश में थे। * विरूपा की वारुणी प्रेरित अतंर्मुख साधना की पद्धति:- ” सहजे थिर करि वारुणि साध। अजरामर होई दिट काँध।” 👉 पढ़ना जारी रखने के लिए यहाँ क्लिक करे। 👉 Pdf नोट्स लेने के लिए टेलीग्राम ज्वांइन कीजिए। 👉 प्रतिदिन Quiz के लिए Facebook ज्वांइन कीजिए। https://hindibestnotes.com/--virupa-ka-parichay/ www.hindibestnotes.com काल विरूपा और धर्मपाल भी थे और ये नालंदा ओडियान तथा चीन में भी प्रकट हुए थे ।(तारानाथ के अनुसार) विरूपा का परिचय(Virupa ka parichay) विरूपा का समय-: संवत् 900 के लगभग( आचार्य रामचंद्र शुक्ल के अनुसार ) * विरूपा के तीन नाम -: विरूपा 2024-05-28 Puran Mal Kumhar